उत्तर प्रदेश की राजनीति में रमापति शास्त्री एक जाना-पहचाना नाम हैं। भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेताओं में गिने जाने वाले रमापति शास्त्री न सिर्फ एक जनप्रिय विधायक हैं, बल्कि उन्होंने एक लंबा और संघर्षपूर्ण राजनीतिक सफर भी तय किया है। उनका जीवन परिचय और राजनीतिक सफर दोनों ही आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेरणा का स्रोत हैं।

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प्रारंभिक जीवन और शिक्षा – रमापति शास्त्री का जीवन परिचय

रमापति शास्त्री का जीवन परिचय उत्तर प्रदेश के गोंडा जिले के बिश्नोहरपुर गांव से शुरू होता है, जहां उनका जन्म 15 अक्टूबर 1952 को एक साधारण कोरी (अनुसूचित जाति) परिवार में हुआ। उनके पिता का नाम रामलौट था, जो तंबीना गोत्र से संबंधित थे। प्रारंभिक शिक्षा नवाबगंज स्थित गांधी इंटर कॉलेज से प्राप्त करने के बाद, उन्होंने 1984 में वाराणसी स्थित संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय से “शास्त्री” की उपाधि प्राप्त की। रमापति शास्त्री की रुचि बचपन से ही सामाजिक कार्यों और धर्म-संस्कृति से जुड़ी रही।

उनकी पत्नी स्व. मंगला देवी थीं, जिनसे उन्हें एक पुत्र और एक पुत्री की प्राप्ति हुई। पारिवारिक जीवन के साथ-साथ उन्होंने समाज सेवा और राजनीति में भी सक्रिय भूमिका निभानी शुरू कर दी थी।

राजनीतिक जीवन की शुरुआत – रमापति शास्त्री का राजनीतिक सफर

रमापति शास्त्री का राजनीतिक सफर 1974 में शुरू हुआ, जब उन्होंने भारतीय जनसंघ के टिकट पर डिक्सिर (सुरक्षित) विधानसभा सीट से चुनाव जीतकर पहली बार उत्तर प्रदेश विधानसभा में प्रवेश किया। पढ़ाई के दौरान ही वह जनसंघ से जुड़ गए थे और तब से लेकर अब तक वे भारतीय राजनीति में एक स्थायी और सक्रिय भूमिका निभा रहे हैं।

1975 में जब देश में आपातकाल लागू हुआ, तो रमापति शास्त्री ने इसका विरोध किया और जेल भी गए। यह समय उनके राजनीतिक जीवन में साहसिक निर्णयों और जनहित के प्रति समर्पण का प्रतीक बन गया।

संघर्ष और सफलता की कहानी – राजनीतिक सफर का विस्तृत विवरण

1980 और 1985 में रमापति शास्त्री को कांग्रेस के बाबूलाल से हार का सामना करना पड़ा, लेकिन उन्होंने हार नहीं मानी। 1989 में उन्होंने भारतीय जनता पार्टी के टिकट पर पुनः चुनाव लड़ा और विजयी हुए। यह उनके राजनीतिक सफर में एक नए चरण की शुरुआत थी।

1991 की रामलहर में उन्होंने भारी बहुमत से जीत दर्ज की और कल्याण सिंह सरकार में पहली बार मंत्री बने। उन्हें समाज कल्याण और राजस्व विभाग जैसे महत्वपूर्ण मंत्रालयों की जिम्मेदारी सौंपी गई।

1993 और 1996 में लगातार जीत दर्ज कर वे पुनः मंत्री बने। 1996 में उन्हें स्वास्थ्य और परिवार कल्याण विभाग का मंत्री बनाया गया।

2002 और 2007 के विधानसभा चुनावों में भले ही उन्हें हार का सामना करना पड़ा हो, लेकिन पार्टी ने उनके अनुभव और समर्पण को देखते हुए उन्हें भारतीय जनता पार्टी की अनुसूचित जाति मोर्चा का राष्ट्रीय अध्यक्ष नियुक्त किया।

वर्तमान में जिम्मेदारी – 2017 से अब तक

2012 में डिक्सिर विधानसभा सीट समाप्त कर दी गई और रमापति शास्त्री ने बलरामपुर सदर से चुनाव लड़ा लेकिन हार गए। इसके बाद 2017 में उन्होंने गोंडा जिले की मानकपुर विधानसभा सीट से चुनाव लड़ा और एक ऐतिहासिक जीत दर्ज की। उन्होंने बहुजन समाज पार्टी के रमेश चंद्र गौतम को 60,161 मतों के भारी अंतर से पराजित किया।

इस शानदार जीत के बाद उन्हें योगी आदित्यनाथ सरकार में समाज कल्याण, अनुसूचित जाति एवं जनजाति कल्याण मंत्री नियुक्त किया गया। उनके नेतृत्व में विभाग ने कई जनकल्याणकारी योजनाओं का सफल क्रियान्वयन किया।

2022 के विधानसभा चुनावों में भी रमापति शास्त्री ने भाजपा के प्रत्याशी के रूप में सपा के उम्मीदवार को 42,349 मतों के अंतर से हराकर अपनी लोकप्रियता और नेतृत्व क्षमता का परिचय दिया।

अन्य भूमिकाएं और सम्मान

मार्च 2022 में उन्हें उत्तर प्रदेश विधानसभा का प्रो-टेम स्पीकर भी नियुक्त किया गया। इस भूमिका में उन्होंने नव-निर्वाचित विधायकों को शपथ दिलाई और विधानसभा सत्र का प्रारंभ करवाया।

रमापति शास्त्री का जीवन परिचय और राजनीतिक सफर दोनों ही यह दर्शाते हैं कि यदि किसी में संकल्प, निष्ठा और जनसेवा की भावना हो, तो वह कितनी भी कठिनाइयों के बावजूद सफल हो सकता है। उन्होंने न केवल एक साधारण पृष्ठभूमि से निकलकर दस बार विधायक बनने का गौरव प्राप्त किया, बल्कि मंत्रिमंडल में महत्वपूर्ण पदों की जिम्मेदारी भी बखूबी निभाई।

क्रमकार्यकाल शुरूकार्यकाल समाप्तपदटिप्पणियाँ
12मार्च 2022वर्तमानविधायक, 18वीं विधानसभा8वीं बार विधायक
11मार्च 2022मार्च 2022प्रो टेम स्पीकर, उत्तर प्रदेश विधानसभायोगी आदित्यनाथ कैबिनेट
10मार्च 2017वर्तमानकैबिनेट मंत्री, उत्तर प्रदेश सरकारयोगी आदित्यनाथ कैबिनेट
09मार्च 2017वर्तमानविधायक, 17वीं विधानसभा7वीं बार विधायक
08अक्टूबर 1996मार्च 2002विधायक, 13वीं विधानसभा6वीं बार विधायक
07सितम्बर 1997नवम्बर 1999कैबिनेट मंत्री, उत्तर प्रदेश सरकारकल्याण सिंह कैबिनेट
06दिसम्बर 1993अक्टूबर 1995विधायक, 12वीं विधानसभा5वीं बार विधायक
05जून 1991दिसम्बर 1992विधायक, 11वीं विधानसभा4वीं बार विधायक
04जून 1991दिसम्बर 1992कैबिनेट मंत्री, उत्तर प्रदेश सरकारकल्याण सिंह कैबिनेट
03दिसम्बर 1989अप्रैल 1991विधायक, 10वीं विधानसभा3वीं बार विधायक
02जून 1977फरवरी 1980विधायक, 7वीं विधानसभा2वीं बार विधायक
01मार्च 1974अप्रैल 1977विधायक, 6वीं विधानसभापहली बार विधायक

रमापति शास्त्री का जीवन परिचय और उनका राजनीतिक सफर उत्तर प्रदेश की राजनीति में जनसेवा, ईमानदारी और नेतृत्व का एक अनमोल उदाहरण है।

उत्तर प्रदेश 2022 विधानसभा में 403 सीटों पर विभिन्न जातियों और धर्मों के विधायकों का प्रतिनिधित्व

गोंडा जिले की विधानसभा सीटें और विजयी प्रत्याशी [ Gonda Assembly Election Results 2022 ]

क्रमांकविधानसभा सीटविजयी प्रत्याशीपार्टी
1गौराप्रभात वर्माभारतीय जनता पार्टी (भाजपा)
2तरबगंजप्रेम नरायन पांडेयभारतीय जनता पार्टी (भाजपा)
3मनकापुररमापति शास्त्रीभारतीय जनता पार्टी (भाजपा)
4कर्नलगंजअजय सिंहभारतीय जनता पार्टी (भाजपा)
5कटरा बाजारबावन सिंहभारतीय जनता पार्टी (भाजपा)
6गोंडा सदरप्रतीक भूषण सिंहभारतीय जनता पार्टी (भाजपा)
7मेहनौनविनय द्विवेदीभारतीय जनता पार्टी (भाजपा)
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